चंडीगढ़ । राजवीर दीक्षित
(Justice at Your Fingertips: PM Modi’s Vision for a Transparent and Swift Legal System) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार (3 दिसंबर) को चंडीगढ़ के पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज में भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम के तीन नए कानूनों की समीक्षा की।
इस अवसर पर गृह मंत्री अमित शाह भी उनके साथ थे। यह कार्यक्रम न केवल नए कानूनों की घोषणा का प्रतीक था, बल्कि यह एक महत्वपूर्ण बदलाव का संकेत भी था, जो भारतीय न्याय व्यवस्था को आधुनिक और पारदर्शी बनाने की दिशा में एक कदम है।
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गृह मंत्री अमित शाह ने अपने संबोधन में कहा कि ये नए कानून अंग्रेजों के जमाने के गुलाम क्रिमिनल सिस्टम से छुटकारा दिलाते हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि अब तारीख पर तारीख का खेल खत्म हो गया है, जिससे न्याय की प्रक्रिया में तेजी आएगी।
पीएम मोदी ने भी इस बात पर जोर दिया कि 1947 में आजादी के बाद भी लोग अंग्रेजी कानूनों के शिकंजे में फंसे रहे। उन्होंने कहा, “लोगों ने सोचा था कि अंग्रेज चले गए हैं, तो अंग्रेजी कानूनों से भी मुक्ति मिलेगी”।
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नए कानूनों का उद्देश्य न्याय प्रणाली को अधिक प्रभावी और नागरिकों के अनुकूल बनाना है। पीएम मोदी ने कहा कि अब गरीब और कमजोर लोग कानून के नाम से नहीं डरेंगे। भारतीय न्याय संहिता लोगों की मानसिकता को बदलने का काम करेगी, जिससे सामाजिक न्याय की भावना को मजबूती मिलेगी।
इन नए कानूनों में जीरो FIR को कानूनी मान्यता दी गई है, जिससे कोई भी व्यक्ति किसी भी पुलिस थाने में FIR दर्ज करा सकता है। इसके अलावा, डिजिटल सबूतों को मान्यता देने के साथ-साथ फोन द्वारा समन भेजने की प्रक्रिया भी शामिल की गई है। इससे न्याय प्रक्रिया में तेजी आएगी और नागरिकों को अधिक सुरक्षा मिलेगी।
पीएम मोदी ने कहा कि नए कानून आतंकवाद और भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई को मजबूत करेंगे। उन्होंने बताया कि पहले विदेशी निवेशक भारत में आने से कतराते थे क्योंकि पुराने कानूनों के कारण मामलों का निपटारा वर्षों तक खिंचता था। अब, नए प्रावधानों से यह सुनिश्चित होगा कि न्याय जल्दी और प्रभावी ढंग से मिले।
प्रधानमंत्री मोदी ने इस कार्यक्रम को एक ऐतिहासिक क्षण बताया, जो न केवल कानूनी प्रणाली में सुधार लाएगा, बल्कि देश की विकास यात्रा को भी गति देगा। यह कदम निश्चित रूप से भारत को एक सुरक्षित और विकसित समाज की ओर ले जाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा।