नई दिल्ली। राजवीर दीक्षित
(SC warns Govt: Consider arrests to curb stubble burning)दिल्ली-एनसीआर में सर्दियों के दौरान बढ़ते वायु प्रदूषण पर सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को सख़्त रुख अपनाया। कोर्ट ने सरकार को स्पष्ट संदेश देते हुए कहा कि पराली जलाने से रोकने के लिए दंडात्मक प्रावधानों, यहाँ तक कि किसानों की गिरफ़्तारी पर भी विचार किया जाए। कोर्ट ने कहा कि “अगर कुछ लोग जेल में होंगे तो सही संदेश जाएगा और पर्यावरण की रक्षा संभव होगी।”
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मुख्य न्यायाधीश बी.आर. गवई और न्यायमूर्ति के. विनोद चंद्रन की पीठ ने यह टिप्पणी तब की जब सुनवाई में बताया गया कि पिछले साल किसानों से कहा गया था कि वे उपग्रह निगरानी से बचने के समय पराली जलाएँ। इस पर कोर्ट ने सवाल उठाया कि क्या सरकार गंभीरता से इस समस्या को हल करना चाहती है।
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सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया कि किसान विशेष हैं और देश के लिए अहम हैं, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि वे पर्यावरण को नुकसान पहुँचाएँ। कोर्ट ने केंद्र को सभी हितधारकों से बातचीत के लिए समय दिया और चेतावनी दी कि यदि ठोस कदम नहीं उठाए गए तो न्यायालय स्वयं सख़्त आदेश जारी करेगा।
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वरिष्ठ अधिवक्ता अपराजिता सिंह ने कहा कि 2018 से अब तक सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के बावजूद स्थिति जस की तस है। वहीं, पंजाब सरकार की ओर से पेश राहुल मेहरा ने दावा किया कि राज्य में प्रदूषण कम करने के प्रयास जारी हैं और हाल के वर्षों में सुधार हुआ है।
हालाँकि, कोर्ट ने साफ़ किया कि दंडात्मक कार्रवाई नियमित न होकर सिर्फ़ संदेश देने के लिए हो सकती है। इस मामले पर अगली सुनवाई अगले सप्ताह होगी।