The Target News
चंडीगढ़ । राजवीर दीक्षित
पंजाब में विजिलेंस ब्यूरो ने बड़ी कार्रवाई करते हुए जीएसटी विभाग में ज्वाइंट डायरेक्टर बीके विरदी को अरेस्ट कर लिया है।
बीके विरदी मौजूदा समय में पटियाला हेड आफिस में डिप्टी कमिश्नर सेल्ज टेक्स सेवाएं दे रहे हैं।
विजिलेंस ब्यूरो ने बीके विरदी से पूछताछ के लिए 2 दिन का पुलिस रिमांड लिया है।
विजिलेंस ब्यूरो के प्रवक्ता ने बताया कि बीके विरदी पर इससे पहले टैक्स चोरी के बड़े मामले में संलिप्त रहे हैं।
Video: श्री आनंदपुर साहिब से मालविंदर सिंह कंग की जीत के उपरांत जाने मंत्री हरजोत सिंह बैंस ने क्या कहा।
आरोप है कि कई ट्रांसपोर्टर और उद्योगपतियों के साथ टैक्स चोरी का बड़ा घोटाला किया गया।
इस संबंधी अगस्त 2020 में धोखाधड़ी व भ्रष्टाचार के आरोपों के तहत बलवीर कुमार विरदी पर केस दर्ज किया गया था।
इसी दौरान विजिलेंस द्वारा बीके विरदी की आय और बनाई गई संपत्ति की जांच की गई।
विजिलेंस ब्यूरो के मुताबिक विजिलेंस जांच में खुलासा हुआ कि बीके विरदी द्वारा लम्मा पिंड एरिया के रहने वाले हैं।
विजिलेंस ब्यूरो द्वारा आय से अधिक संपत्ति बनाने के मामले में बीके विरदी के खिलाफ केस दर्ज किया गया।
विजिलेंस ब्यूरो ने बताया कि बीके विरदी की 1 अप्रैल 2007 से लेकर 11 सितंबर 2020 तक के टैन्यौर की जांच की गई।
खुलासा हुआ कि इस अवधि के दौरान बीके विरदी द्वारा 5,12,51,688.37 खर्च किया गया, जबकि बीके विरदी की इस अवधि के दौरान आय 2,08,84,863.37 थी।
विजिलेंस ब्यूरो के मुताबिक बीके विरदी द्वारा 3,03,66,825 अधिक खर्च किया गया। जो कि उनकी कुल आय का 145.40 प्रतिशत अधिक खर्च बनता है।
विजिलेंस ब्यूरो के मुताबिक गहराई से जांच के पश्चात खुलासा हुआ कि विरदी द्वारा अपने पद का दुरुपयोग करके करोड़ों की चल अचल संपत्ति बनाई गई है।
➡️ इस Line को Click करके आप हमारे चैनल को Join कर सकते है।
इस संबंधी 16 मई 2023 को भ्रष्टाचार निरोधक एक्ट की विभिन्न धाराओं के अधीन केस दर्ज किया गया।
विजिलेंस ब्यूरो के प्रवक्ता ने बताया कि केस दर्ज किए जाने के पश्चात आरोपी अरेस्ट से बचता रहा।
3 मई को अदालत ने बीके विरदी की बेल रिजेक्ट कर दी। इसके पश्चात बलवीर कुमार विरदी ने हाईकोर्ट के आदेशों पर सरेंडर कर दिया।