चंडीगढ़ । राजवीर दीक्षित
(Punjab Tehsildars End Strike After Govt Crackdown) पंजाब सरकार की सख्ती के बाद तहसीलदारों ने बिना शर्त अपनी हड़ताल वापस ले ली है और काम पर लौट आए हैं। तहसीलदार एसोसिएशन के प्रधान सुखचरन सिंह चन्नी ने मीडिया को बताया कि सभी अधिकारी सुबह से ही अपने-अपने कार्यस्थलों पर लौट आए हैं।
235 अधिकारियों का हुआ तबादला
सरकार ने दोपहर में बड़ा प्रशासनिक फेरबदल करते हुए 235 राजस्व अधिकारियों का तबादला कर दिया, जिनमें 58 तहसीलदार और 177 नायब तहसीलदार शामिल हैं। इनका तबादला दूरस्थ इलाकों में किया गया है, जहां कुछ अधिकारियों को 200 से 250 किलोमीटर तक भेजा गया है।
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डीसी तय करेगा कार्य क्षेत्र
नई व्यवस्था के तहत तहसीलदारों को जिला अलॉट कर दिया गया है, लेकिन उनकी कार्यस्थली का निर्धारण जिला उपायुक्त (डीसी) करेंगे। सरकार ने स्पष्ट किया है कि वह अपने फैसले से पीछे नहीं हटेगी और किसी भी तरह की ब्लैकमेलिंग बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
CM मान का सख्त संदेश
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने सोशल मीडिया पर टिप्पणी करते हुए कहा कि सरकार भ्रष्टाचार के खिलाफ है और आम जनता को किसी भी तरह की असुविधा नहीं होने दी जाएगी। उन्होंने व्यंग्यात्मक लहजे में लिखा, “तहसीलदारों को छुट्टी की शुभकामनाएं, लेकिन अब वे खुद तय करें कि कब और कहां जॉइन करना है।”
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कैसे शुरू हुआ विवाद?
विवाद की जड़ में विजिलेंस ब्यूरो की कार्रवाई थी, जिसके विरोध में तहसीलदारों ने सामूहिक अवकाश ले लिया था। सरकार ने सख्ती दिखाते हुए चेतावनी दी कि शाम 5 बजे तक वापस न लौटने वालों को निलंबित कर दिया जाएगा। कई तहसीलदार ड्यूटी पर लौट आए, लेकिन जो नहीं लौटे, उनमें से 15 को सरकार ने तत्काल निलंबित कर दिया।
सरकार ने इसे ब्लैकमेलिंग करार देते हुए दोहराया कि हड़ताल या सामूहिक अवकाश को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।